इस लेख में हम टॉप 10 भगवान श्री कृष्णा शायरी और कवितायें प्रस्तुत करेंगे। कृपया अपनी शायरी भी हमें नीचे कमेंट में लिख भेजें। हम उन्हें भी इस लेख से जोड़ देंगे।
ये भजन मीराबाई ने श्री कृष्ण के प्रति अपने प्रेम को दर्शाने के लिए गाया था। इसकी पहली 2 पंक्तियाँ कुछ इस प्रकार हैं –
मेरो तो गिरिधर गोपाल, दूसरो ना कोई।
जाके शीश मोरपखा, मेरो पति सोई।।
अर्थात: गिरिधर गोपाल (श्री कृष्ण) ही मेरा है बाकी कोई नहीं। जिसके सर पर मोर का पंख है वही मेरा पति है।
पूर्ण गाना सुनने के लिए नीचे दिया विडियो देखें।
ये शायरी राधा जी को समझाने के लिए है। जब श्री कृष्ण उन्हें छोड़ कर मथुरा चले गए तो इस शायरी से उनके दुःख को कम करने का प्रयास किया जा रहा है। इसकी 2 पंक्तियाँ कुछ इस प्रकार है –
तू प्रीत लगाई जात है, वो दामन छुड़ाई जात है।
भूल गयो सब कथनी-करनी, ना तोसे कोई बात है।।
अर्थात: (राधा से कहा जा रहा है) तू उससे (श्री कृष्ण से) से प्रेम किये जा रही है और वो तेरा साथ छोड़ कर जा रहा है। वो अपनी सारी कही और करने वाली बातें भूल चूका है और अब उसे तुझसे कोई बात नहीं करनी है।
इससे पहले की शायरी का जवाब राधा जी इस शायरी से दे रही हैं। वो बता रही हैं कि जो दिख रहा है वो केवल मिथ्या है।
ना वो जात है, ना वो आत है, समझन वाली जे बात है।
गयो कहाँ वो छोड़ के, हर सांझ तो बाके गुण गात है ।।
अर्थात: (राधा जी उत्तर दे रही हैं ) ना तो वो (कृष्णा) कहीं जाता है और ना ही कहीं से आता है, यही तो समझने वाली बात है। वो मुझे छोड़ कर गया ही नहीं है क्योंकि हर आने वाली संध्या उसी के गुण गान करती हुई आती है।
इस शायरी में नन्हे से कृष्ण को गोपियाँ चिढ़ा रहीं हैं। कृष्ण उनके घर से माखन चुरा लेते हैं तो वो उसे चोर बुला रही हैं। ये शायरी कुछ इस प्रकार है –
यशोदा को कान्हा, चोर है। टोली संग आवे हर भोर है।।
हार गयी सब साधन करके, उठाये माखन भागे चहु ओर है।।
अर्थात: (गोपी समस्या बताते हुए) ये यशोदा का कन्हैया तो चोर है। हर सुबह अपने मित्रों की टोली के साथ आता है। में तो सब उपाय करके थक चुकी हूँ। मेरा मक्खन उठा पर चारों को भागता फिरता है।
जब गोपी कृष्णा की शिकायत लेकर यशोदा के पास जाती हैं तो अपने बचाव में कृष्णा जो बोलते हैं वो शायरी कुछ इस प्रकार है –
क्यों झूठा दोष लगात है, तोये शरम नहीं आत है?
धनी हूँ में तेरे घर कौ, फिर क्यों मोये चोर बुलात है?
अर्थात: (कृष्ण अपना बचाव करते हुए, गोपी से कह रहे हैं) तुझे शर्म नहीं आती जो तू मुझ पर झूठा आरोप लगा रही है? मैं तो तेरे घर का धनी हूँ फिर क्यों तू मुझे चोर बुला रही है?
धनी वो होता है जो परिवार के लिए धन अर्जित करता है। श्री कृष्ण ही सबकुछ देने वाले हैं इसलिए वो इस शायरी में स्वयं को धनी बता रहे हैं और कह रहे हैं कि सब मेरा है फिर में चोर कैसे हुआ।
ये शायरी सांसारिक मिथ्याओं को दर्शा रही है और उनसे उत्पन्न घमंड का वर्णन कर रही है ।
शक्ति और सुन्दरता, सब ईश्वर को रचायो तानो-बानो है।
जब साथ हों प्रभु स्वयं, तो दंभ तो होही जानो है।।
अर्थात: शक्ति और सुन्दरता ईश्वर के द्वारा रचित वो गुण हैं जो मानव शारीर के साथ ही समाप्त हो जाते हैं। ये ईश्वर का रचाया एक भ्रम मात्र है। परन्तु जब ईश्वर स्वयं साथ होते हैं तो कभी कभी इन्ही विकारों से अभिमान जन्म ले लेता है।
गरुण, चक्र और सत्यभामा को अभिमान हो गया था क्योंकि वो हमेशा श्री कृष्ण के समीप रहते थे। उन्हें ऐसा लगने लगा था कि प्रभु सिर्फ उनके हैं। गरुण को लगने लगा था कि प्रभु उसके बिना कहीं जा नहीं सकते। चक्र को लगता था कि जब प्रभु के पास कोई और मार्ग नहीं होता तो वो उसी का उपयोग करते हैं। और सत्यभामा को लगता था कि वो सबसे अधिक धनवान और सुन्दर हैं इसलिए प्रभु पर उन्ही का अधिकार है। किस प्रकार हनुमान जी ने सत्यभामा, गरुण और सुदर्शन का गर्व भंग किया ये जानने के लिए क्लिक करें।
राधा जी श्री कृष्ण को उनके ग्वाले और सांवले होने पर चिढ़ा रही हैं। स्वयं को सुन्दर बता कर सिद्ध कर रही हैं कि कन्हैया तो उनके आगे कुछ भी नहीं है।
में राधा हूँ तू है ग्वालो, तोपे का धरो है।
तू संवारो सलोनो, उफ़! ना ना तू बस संवारो है।।
अर्थात: (राधा श्री कृष्ण को चिढ़ा रही हैं) मैं सुन्दर राधा हूँ और तू गाय चराने वाला ग्वाला। तेरे पास तो कुछ भी नहीं है। तू तो संवला और सलोना है (गलती से मुख से सलोना निकल गया अर्थात सच्चाई निकल गयी क्योंकि कान्हा की झूठी निंदा करना भी असंभव है। अब राधा गलती को छुपा रही हैं)। उफ़! नहीं नहीं सलोना नहीं तू बस संवला है।
ये शायरी तुला भ्रम को दर्शा रही है जब सत्यभामा ने अपने यज्ञ पर श्री कृष्ण को ही नारद जी को दक्षिणा में दान कर दिया था। तब सत्यभामा की काफी मिन्नतों के बाद नारद जी ने तुला दान स्वीकार किया था जिसमें प्रभु ने खूब लीला दिखाई थी।
दान हुए प्रभु नारद जी को, धर्म अपना निभाने चले हैं।
जग के नाथ नाथ नहीं अब, घिस-घिस चटनी बनाने चले हैं।।
अर्थात: सत्यभामा ने नारद जी को उनकी दक्षिणा में प्रभु को ही दान कर दिया। अब प्रभु नारद जी के सेवक हैं और अपना धर्म निभाने जा रहे हैं। जो सम्पूर्ण जग के स्वामी हैं वो अब स्वामी नहीं रहे अपितु अपने स्वामी के लिए घिस-घिस कर चटनी बनाने जा रहे हैं।
इस शायरी में श्री कृष्ण के महाभारत के युद्ध में प्रतिज्ञा तोड़ कर चक्र उठा लेने को दर्शाया गया है। श्री कृष्ण ने प्रतिज्ञा ली थी कि वो युद्ध में शस्त्र नहीं उठायेंगे परन्तु जब उन्होंने देखा कि अर्जुन भीष्म पितामह पर प्रहार नहीं कर रहा और पितामाह उनकी सेना का विनाश कर रहे हैं तो धर्म को संकट में देख उन्होंने अपनी प्रतिज्ञा तोड़ दी और रथ का पहिया उठा कर भीष्म को मारने उतर गए।
धर्म युद्ध के धर्म में, शूल बनी जोई।
तोड़ प्रतिज्ञा उठा चक्र, धर्म से बड़ा ना कोई।।
अर्थात: जब स्वयं की प्रतिज्ञा धर्म के पथ पर काँटा बन जाए तो उसे तोड़ देना ही उचित है। महाभारत के युद्ध में चक्र उठा कर अपनी प्रतिज्ञा तोड़ने वाले श्री कृष्ण ने यही सन्देश दिया कि धर्म से बढ़कर कुछ भी नहीं है।
यह शायरी विष्णु के अगले अवतार को दिखा रही है। कलयुग में प्रभु, कलकी अवतार लेने वाले हैं।
अधर्म छु रहा शिखा को, हे प्रभु आओगे कब।
ले अवतार कलकी तुम, संहार करो कलयुग का अब।।
अर्थात: अधर्म ऊंचाइयों को छु रहा है। वो चरणों से होते हुए शिखा तक पहुँच गया है। हे प्रभु आप कब आयेंगे? अब कलकी अवतार ले लो और इस कलयुग का संहार करो।
अगर आपको टॉप 10 भगवान कृष्णा शायरी और कवितायें पसंद आयीं हों तो फेसबुक और व्हात्सप्प पर शेयर अवश्य करें। प्रथम कविता को छोड़ कर बाकी सभी शायरी, कृष्णा कुटुंब के संस्थापक आकाश मित्तल के द्वारा लिखी गयीं हैं। अगर आप इन्हें कहीं और लिखना चाहें तो इस पेज का लिंक अवश्य दें। अगर आप अपनी कवितायें और शायरी भी यहाँ डलवाना चाहते हैं तो कमेंट्स में हमें लिख भेजें।
स्रोत्र: मीराबाई भजन
You may download Baba Ramdevpir Alakhdhani ni Aarti Mp3 song from the below wizard -…
Ishardan Gadhvi Hanuman Chalisa mp3 song download will allow you to listen the best Hanuman…
You may download Jaharveer Goga Chalisa Mp3 song from the below wizard - [wbcr_php_snippet…
You may download Guru Gorakhnath Chalisa Mp3 song from the below wizard - [wbcr_php_snippet…
You may download Bahuchar Maa Ni Aarti Mp3 song from the below wizard - …
You may download Dashama No Thal Mp3 song from the below wizard - [wbcr_php_snippet…
Leave a Comment